Jablonski Diagram In Hindi 23 Useful
Jablonski Diagram In Hindi,इस ब्लॉग में हम पड़ेंगे फोटो केमिस्ट्री के एक महत्वपूर्ण टॉपिक के बारे में जिसके बिना फोटो केमिस्ट्री को समझना मुश्किल हैं.फोटो केमिस्ट्री, फिजिकल और आर्गेनिक केमिस्ट्री दोनों में आती हैं.इस ब्लॉग में हम फोटो केमिस्ट्री के एक पार्ट Jablonski Diagram कोसमझेंगे !
Jablonski Diagram In Hindi
आर्गेनिक फोटो केमिस्ट्री में एप्लीकेशन के बारे में अध्ययन किया जाता है.मतलब किसी आर्गेनिक compound पर photochemistry का क्या असर होता है?या क्या उसके उपयोग हैं?के बारे में बात करते हैं.सबसे पहले हम यह समझेंगे की photochemistry क्या होती हैं.इसे हम दो भागो में डिवाइड कर सकते हैं :
- फोटो फिजिकल प्रोसेस : इस प्रोसेस पर में जब कोई अभिकर्मक (Reactant)पर कोई hν energy टकराती हे तो इलेक्ट्रान ग्राउंड अवस्था से उत्तेजित अवस्था में चला जाता है .फिर वह वापस hν energy रिलीज़ करके अभिकर्मक (Reactant) में चेंज हो जायेगा .यह एक फोटो फिजिकल प्रोसेस होती हैं.
- फोटो केमिकल प्रोसेस :इस प्रोसेस पर में जब कोई अभिकर्मक (Reactant)पर कोई hν energy टकराती हे तो इलेक्ट्रान ग्राउंड अवस्था से उत्तेजित अवस्था में चला जाता है .और प्रोडक्ट में परिवर्तित होता है इसे फोटो केमिकल प्रोसेस कहते है .
सामान्य अवस्था और उत्तजित अवस्था
जब इलेक्ट्रान hν एनर्जी ग्रहण करके उत्तजित अवस्था में जाता हैं तो यदि उसकी स्पिन ऐन्टीपैरलेल होती हैं. तो वह unstable कंडीशन में होता हैं.इसे सिंग्लेट अवस्था कहते हैं.यदि उसकी स्पिन पैरलेल होती हैं,तो वह stable कंडीशन में होता हैं.इसे ट्रिप्लेट अवस्था कहते है.(चित्र)
सिंग्लेट अवस्था में स्पिन multiplicity 2(S)+1=1 होती हैं.क्योंकि S=+1/2 +(-1/2)=0 होता हैं.S का मान 0 हैं .इस s का मान स्पिन multiplicity सूत्र में रखने पर यह होगा :- 2(0)+1=1इसी प्रकार ट्रिप्लेट अवस्था में स्पिन multiplicity 2(S)+1=3 होती है.क्योंकि S=+1/2 +(+1/2)=1यहाँ पर S का मान 1 हैं .इस s का मान स्पिन multiplicity सूत्र में रखने पर यह होगा :- 2(1)+1=3
जब इलेक्ट्रान एनर्जी काअवशोषण करके उत्तजित अवस्था में जाते है और उनका स्पिन चेंज नहीं होता या वह antiparraral होता है तो उसे सिंग्लेट अवस्था कहते हैं.औरजब इलेक्ट्रान एनर्जी काअवशोषण करके उत्तजित अवस्था में जाते है और उनका स्पिन चेंज या स्पिन Parraral होता हैं,तो उसे ट्रिप्लेटअवस्था कहते हैं.
Jablonski Diagram In Hindi
जब इलेक्ट्रान एनर्जी काअवशोषण करके S0 से S1,S2.S3 में जाते हैं.जब वह वापस आते समय ली एनर्जी को हीट के रूप में रिलीज़ करता हैं तो इसे नॉन रेडियोएटीव decay कहते हैं.यदि इलेक्ट्रान एनर्जी का उत्सर्जन फोटोन के रूप में करते हैं तो इसे रेडियोएटीव decay कहते हैं.यह प्रोसेस बहुत तेजी से होती हैं इसे flouroscence कहते है.
Jablonski Diagram In Hindi
जब इलेक्ट्रान उत्तेजित अवस्था(सिंग्लेट अवस्था )से T1,T2,T3(ट्रिप्लेट अवस्था )में चला जाता हैं.इस समय इलेक्ट्रान की स्पिन चेंज हो जाती हैं.इसे इंटर सिस्टम क्रासिंग कहते है.यहाँ से इलेक्ट्रान एनर्जी को हीट के रूप में रिलीज़ करता हैं तो इसे नॉन रेडियोएटीव decay कहते हैं.यदि इलेक्ट्रान एनर्जी का उत्सर्जन फोटोन के रूप में करते हैं तो इसे रेडियोएटीव decay कहते हैं.यह प्रोसेस बहुत धीमे से होती हैं,इसे Phasphoresenceकहा जाता है.
जब्लोंसकी डायग्राम के कुछ महत्वपूर्ण टर्म
Absorption 10-15 sec
Inter System crossing 10-10 -10-8 sec
Internal coversion
vibrational relaxation 10-12 10-10
flouroscence 10-10 -10-7
phasphoresence 10-3 to 101
इस प्रकार से इस ब्लॉग में हमने देखा कीJablonski Diagram In Hindiऔर भी कुछ स्पेशल उदाहरण बीच-बीच में ऐड करता रहूँगा.आप की कोई इस से रिलेटेड प्रॉब्लम हो तो मेसेज बॉक्स के थ्रू सेंड कर सकते है.इसे शेयर करें फ्रेंड्स और फॅमिली केस साथ में और भी इम्पोर्टेंट टॉपिक आपके साथ शेयर करता रहूँगा.अगर आप लैपटॉप से रिलेटेड कोई इनफार्मेशन चाहते है तो इसलिंक पर क्लिक करें.थैंक यू !
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